मेरठ-पौड़ी हाईवे पर एक और टोल प्लाजा शुरू
मेरठ-पौड़ी हाईवे-119 पर छोटा मवाना के पास भैंसा गांव के जंगल में बना टोल प्लाजा मंगलवार सुबह आठ बजे से शुरू हो गया। नेशनल हाईवे अथारिटी ऑफ इंडिया (एनएचएआई) ने डीएम-एसपी को पत्र लिखकर प्रशासनिक और पुलिस की मदद मांगी है। उधर, हाईवे पर किरतपुर-नजीबाबाद के बीच भनेड़ा में भी मंगलवार सुबह से ही टोल प्लाजा शुरू हुआ।
मेरठ से नजीबाबाद तक हाईवे-119 का चौड़ीकरण कर चार लेन का किया जाना था। मेरठ से बहसूमा और बिजनौर से नजीबाबाद तक हाईवे के चौड़ीकरण कार्य लगभग पूर्ण कर लिया गया है। हालांकि अभी बहसूमा से बिजनौर तक चौड़ीकरण का कार्य पूरा नहीं हो सका है। यहां वन मंत्रालय की एनओसी में देरी की वजह से निर्माण अटका हुआ था।
इस हाईवे पर दो जगहों पर टोल प्लाजा बनाए गए हैं। दोनों टोल प्लाजा पर वाहनों से शुल्क की वसूली के लिए एनएचएआइ ने टेंडर भी जारी कर दिया है। मंगलवार सुबह से दोनों टोल पर वसूली शुरू हुई।
छोटा मवाना और भनेड़ा स्थित टोल प्लाजा पर शुल्क निर्धारित कर दिया गया है। शुल्क की दरों का प्रचार किया जा रहा है। आरके नागरवाल, परियोजना, निदेशक, एनएचएआई
आने और जाने का ये है शुल्क
कार, जीप व हल्के वाहन 40 और 65 रुपये
हल्के कामर्शियल वाहन व मिनी बस 70 और 100 रुपये
दो एक्सल के बस व ट्रक 140 और 210
तीन एक्सल कामर्शियल वाहन 155 और 230
चार से छह एक्सल भारी मशीनरी वाहन 220 और 335
सात एक्सल व उससे भारी वाहन 270 और 405 रुपये
एनएचएआई चार माह पहले शुल्क वसूली के लिए ट्रॉयल कर चुका है। लेकिन लोकसभा चुनाव के कारण तब शुल्क वसूली स्थगित कर दी गई।
मेरठ से 27 किलोमीटर दूरी पर टोल प्लाजा, बिजनौर है 52 किलोमीटर
मेरठ से भैंसा उर्फ भीषम नगर के बीच टोल प्लाजा की दूरी लगभग 27 किलोमीटर है। जिसमें कर समेत छोटे वाहनों को 40 रुपये एक तरफ से वसूला जाएगा। जबकि 24 घंटे के लिए 65 रुपये रखा गया है। जबकि गाड़ी पर फास्ट ट्रैक नहीं लगे होने की स्थिति में इसका दो गुना शुल्क वसूला जाएगा। ऐसा ही बड़े वाहनों के लिए रखा गया है, जिसमे ट्रक आदि वाहन शामिल हैं। जबकि प्लाजा से बिजनौर के बीच की दूरी 52 किलोमीटर है।
अंडरपास का कार्य अभी प्रस्तावित है
निलोहा व भैंसा के ग्रामीण की काफी समय से मांग उठ रही की हाईवे बनने पर उन्हें खेतों पर आने जाने में काफी दूरी तय करनी पड़ रही है। इसको लेकर धरना भी दिया था और मामला उच्च अधिकारी के पास ही पहुंचा था लेकिन एनएचएआई अधिकारियों ने अंडरपास बनाने का आश्वासन दिया था। उसे पर कुछ दिन काम चला था लेकिन फिर बंद हो गया। जिससे बनने पर लोगों को राहत मिल जाएगी।