नई दिल्ली । हिमाचल प्रदेश में इस साल के आखिर में होने वाले विधानसभा चुनाव में भाजपा व कांग्रेस दोनों सतर्क हैं क्योंकि उनके असंतुष्ट आम आदमी पार्टी का दामन थाम सकते हैं। भाजपा अध्यक्ष जे पी नड्डा लगातार राज्य का दौरा कर चुनावी तैयारियों पर सीधी नजर रखे हुए हैं। नड्डा का गृह राज्य होने से इसका महत्व काफी ज्यादा है। प्राकृतिक रूप से ठंडे हिमाचल में चुनावी गर्मी बढ़ने लगी है। बीते साल हिमाचल की एक लोकसभा और 3 विधानसभा सीटों पर हुए उपचुनाव में कांग्रेस जीत दर्ज करने में कामयाब रही है। इन सीटों पर भाजपा को हराने के बाद कांग्रेस के हौसले बुलंद हैं। दूसरी ओर पड़ोसी पंजाब में बड़ी जीत हासिल करने के बाद आम आदमी पार्टी अब हिमाचल में भी अपनी जड़े जमाने की कोशिश में जुटी है। ऐसे में भाजपा को दोहरे मोर्चे पर जूझना पड़ रहा है। भाजपा ने हाल मे आम आदमी पार्टी के कई बड़े नेताओं को भाजपा में शामिल कर उसे बड़ा झटका दिया, लेकिन कांग्रेस की चुनौती उसके लिए दिक्कत दे सकती है। सूत्रों के अनुसार भाजपा ने भावी चुनौती को देखते हुए अपनी चुनावी तैयारियों को चाक चौबंद करना शुरू कर दिया है। हर विधानसभा क्षेत्र की समीक्षा की जा रही है और हर भाजपा विधायक के रिपोर्ट कार्ड पर पैनी नजर रखी जा रही है। सूत्रों का कहना है कि टिकट काटने से लेकर टिकट तय करने में हर क्षेत्र के सामाजिक व राजनीतिक समीकरणों को ध्यान में रखा जाएगा। पार्टी के एक प्रमुख नेता का कहना है कि इस बार असंतु्ष्टों के लिए आम आदमी पार्टी का एक नया प्लेटफार्म उपलब्ध होने से ज्यादा सतर्कता बरती जा रही है।