मोदी सरकार ने सीमाओं को मजबूती प्रदान करने दी शीर्ष प्राथमिकता : अमित शाह
नई दिल्ली । देश की सीमाओं की सुरक्षित निगरानी को लेकर केंद्र सरकार काफी गंभीर है। केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने कहा कि केंद्र की नरेंद्र मोदी सरकार ने देश की सीमाओं को मजबूत करने को शीर्ष प्राथमिकता दी है और यही कारण है कि मौजूदा शासन के तहत इन इलाकों में बुनियादी ढांचा विकास पर खर्च बढ़ा है। नेपाल की सीमा से लगे बिहार के किशनगंज जिले में फतेहपुर चौकी पर सशस्त्र सीमा बल (एसएसबी) के कर्मियों को संबोधित करते हुए शाह ने देश की अंतरराष्ट्रीय सीमा की पहरेदारी कर रहे जवानों की कल्याण जरूरतों के प्रति केंद्र के संवेदनशील होने का भी उल्लेख किया।
उन्होंने कहा, ‘2008 और 2014 के बीच, सालाना करीब 4,000 करोड़ रुपये सीमा पर बुनियादी ढांचे पर खर्च किये गये। बाद में, यह प्रतिवर्ष बढ़ कर 6,000 करोड़ रुपये हो गया।’ शाह ने फतेहपुर, रानीगंज, आमगाछी, पेकाटोला और बेरिया चौकियों के भवनों का उद्घाटन करते हुए यह कहा। गृह मंत्री ने कहा कि केंद्र में राष्ट्रीय जनतांत्रिक गठबंधन (राजग) सरकार के तहत सीमावर्ती बुनियादी ढांचा परियोजनाओं पर 44,600 करोड़ रुपये खर्च किये गये हैं। शाह ने कहा, ‘इसके चलते सीमावर्ती सड़कों की कुल लंबाई 3। 5 गुना बढ़ गई।’
उन्होंने कहा, सीमा पर तैनात हमारे कर्मी राष्ट्रीय आपदा के समय और कानून व्यवस्था से जुड़ी स्थितियों में भी योगदान देते हैं। सरकार ने इसे महसूस किया है और उन्हें तथा उनके परिवार को बेहतर सुविधाएं मुहैया करने पर काम रही है। उन्होंने कहा कि सरसरी तौर पर देखने पर ऐसा प्रतीत होता है कि नेपाल और भूटान जैसे मित्र देशों के साथ लगी सीमा की पहरेदारी करने के कारण एसएसबी का काम आसान है।
शाह ने कहा, ‘लेकिन हम जानते हैं कि आपके समक्ष आने वाली चुनौतियां कम नहीं हैं क्योंकि बाड़ रहित इलाकों में गश्त करना कठिन है। स्थानीय लोगों में आपकी छवि और सद्भावना एक अहम भूमिका निभाती है।’ उन्होंने इस बात का उल्लेख किया कि एसएसबी जवानों ने उत्साह के साथ हर घर तिरंगा अभियान में भाग लिया और नागरिकों को 10 लाख तिरंगा वितरित किया गया।